होली खेलन आयो श्याम, आज: होली भजन (Holi Khelan Aayo Shyam, Aaj)

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होली खेलन आयो श्याम
होली खेलन आयो श्याम,
आज याहि* रंग में बोरो# री ॥

कोरे-कोरे कलश मँगाओ,
रंग केसर को घोरो री ।
मुख ते केशर मलो,
करो याहि कारे से गोरो री ॥
रंग-बिरंगो करो आज,
याहि कारे से गोरो री ॥
होली खेलन आयो श्याम,
आज याहि रंग में बोरो री ॥

पास-पड़ौसिन बोलि,
याहि आँगन में घेरो री ।
पीताम्बर लेउ छीन,
याहि पहराय देउ लहँगो री ॥
होली खेलन आयो श्याम,
आज याहि रंग में बोरो री ॥

हरे बाँस की बाँसुरिया,
याहि तोड़-मरोड़ी री ।
तारी दे दे याहि नचावो,
अपनी ओरो री ॥
होली खेलन आयो श्याम,
आज याहि रंग में बोरो री ॥

चन्द्रसखी की यही विनती,
करे निहोरो री ।
हा हा खाय पड़े जब,
पैया तब याहि छोरो री ॥
होली खेलन आयो श्याम,
आज याहि रंग में बोरो री ॥

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होली खेलन आयो श्याम
होली खेलन आयो श्याम,
आज याहि रंग में बोरो री ॥

* याहि: इसे, इनको, इन्हें ।
# बोरो: डुबाइये।

Sandeep Bishnoi

Sandeep Bishnoi

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