परिश्रम करे कोई कितना भी लेकिन: भजन (Parishram Kare Koi Kitana Bhi Lekin)

jambh bhakti logo

परिश्रम करे कोई कितना भी लेकिन,
कृपा के बिना काम चलता नहीं है ।
निराशा निशा नष्ट होती ना तब तक,
दया भानु जब तक निकलता नहीं है ।

दमित वासनाये, अमित रूप ले जब,
अंतः-करण में, उपद्रव मचाती ।
तब फिर कृपासिंधु, श्री राम जी के,
अनुग्रह बिना, काम चलता नहीं है ।
(अनुग्रह बिना, मन सम्हलता नहीं है)

परिश्रम करे कोई कितना भी लेकिन,
कृपा के बिना काम चलता नहीं है ।

म्रगवारी जैसे, असत इस जगत से,
पुरुषार्थ के बल पे, बचना है मुश्किल ।
श्री हरि के सेवक, जो छल छोड़ बनते,
उन्हें फिर ये, संसार छलता नहीं है ।

परिश्रम करे कोई कितना भी लेकिन,
कृपा के बिना काम चलता नहीं है ।

सद्गुरू शुभाशीष, पाने से पहले,
जलता नहीं ग्यान, दीपक भी घट में ।
बहती न तब तक, समर्पण की सरिता,
अहंकार जब तक, कि गलता नहीं ।

वीर है गौरा तेंरा लाड़ला गणेश: भजन (Veer Hai Gaura Tera Ladla Ganesh)

श्री भगवत भगवान की है आरती! (Shri Bhagwat Bhagwan Ki Aarti)

श्री शांतादुर्गेची आरती (Shri Shanta Durgechi Aarti)

परिश्रम करे कोई कितना भी लेकिन,
कृपा के बिना काम चलता नहीं है ।

राजेश्वरानन्द, आनंद अपना,
पाकर ही लगता है, जग जाल सपना ।
तन बदले कितने भी, पर प्रभु भजन बिन,
कभी जन का, जीवन बदलता नहीं ।

परिश्रम करे कोई कितना भी लेकिन,
कृपा के बिना काम चलता नहीं है ।
निराशा निशा नष्ट होती ना तब तक,
दया भानु जब तक निकलता नहीं है ।

Picture of Sandeep Bishnoi

Sandeep Bishnoi

Leave a Comment