मेरी फरियाद सुन भोले,
तेरे दर आया दीवाना,
मन की मुरादें पूरी कर,
सिवा तेरे ना कोई ठिकाना,
मेरी फरियाद सुन भोलें,
तेरे दर आया दीवाना ॥
कैसे मनाऊं तुझको भोले,
जानू ना तेरी पूजा,
तुझपे अर्पण जीवन मेरा,
तुझ बिन ना कोई दूजा,
मेरी अर्जी सुन भोले,
है हँसता सारा ज़माना,
मेरी फरियाद सुन भोलें,
तेरे दर आया दीवाना ॥
सच्चे मन से आया भोले,
दर्शन करने मैं तेरा,
दूध चढ़ा के तुमको रिझाऊं,
सुन संदेसा मेरा,
ये ‘राजा गोहेर’ मांगे प्रभु,
चरण धूलि का नजराना,
मेरी फरियाद सुन भोलें,
तेरे दर आया दीवाना ॥
मेरी फरियाद सुन भोले,
तेरे दर आया दीवाना,
मन की मुरादें पूरी कर,
सिवा तेरे ना कोई ठिकाना,
मेरी फरियाद सुन भोलें,
तेरे दर आया दीवाना ॥
निर्माण कालीन समराथल ........समराथल कथा भाग 16
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