बीच भंवर में फसी मेरी नैया,
तुम्ही हो खिवैया माँ,
तुम्ही हो खिवैया ॥
तेरा ही भरोसा माँ,
तेरा ही सहारा,
तुम्ही को पुकारा माँ,
तुम्ही को पुकारा,
तेरे ही भरोसे पे,
चले मेरी नैया,
तुम्ही हो खिवैया माँ,
तुम्ही हो खिवैया ॥
बडी तेज आंधी,
तूफानों ने घेरा,
बता कुन है मेरा माँ,
यहाँ कुन है मेरा,
खड़ी क्या हुई के,
चली आ तू मैया,
तुम्ही हो खिवैया माँ,
तुम्ही हो खिवैया ॥
सुनी जब भगत की,
झट दौड़ी आई,
पतवार हाथों ले,
किनारे लगाई,
बडी ही दयालु है,
‘प्रवीण’ मेरी मैया,
तुम्ही हो खिवैया माँ,
तुम्ही हो खिवैया ॥
बीच भंवर में फसी मेरी नैया,
तुम्ही हो खिवैया माँ,
तुम्ही हो खिवैया ॥
उदोजी नैण का जाम्भोजी के शरण में आना भाग 2
मदन गोपाल शरण तेरी आयो - भजन (Madan Gopal Sharan Teri Aayo)
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