घर घर बधाई बाजे रे देखो,
घर घर बधाई बाजे रे,
ढोलक नगाड़ा वाजे रे देखो,
ढोलक नगाड़ा वाजे रे
जन में अयोध्या में राम लला की,
माता कौशल्या खिलाये रे,
॥ घर घर बधाई बाजे रे देखो..॥
॥ जय श्री राम, जय श्री राम॥
सोने के पलना में झूले ललनवा,
चांदी की पहने पैजनियाँ,
झुन झुन बाजे पाओ में गुंगरु,
खुश है बड़ी सारी सखियाँ,
पीला पीताम्बर शोभा बडाये,
पहने कमर में कंधनियाँ,
॥ घर घर बधाई बाजे रे देखो..॥
॥ जय श्री राम, जय श्री राम॥
दसरथ के अंगना में ढोलक प्रभु जी,
भरत शत्रु लक्ष्मण जी,
माता सुमित्रा केकई कौशल्या,
गोदी खिलाये कभी चूमे जी,
संतो में महंतो को भोजन करवाए,
भर भर के दान लुटाये रे,
॥ घर घर बधाई बाजे रे देखो..॥
॥ जय श्री राम, जय श्री राम॥
विष्णु अवतारी राम जी हमार,
सबकी ही नैया तारे गे,
अब तो बचे ना पापी अधर्मी,
रावन को राम जी संहारे गये,
राम राम जो भोले की रीतू,
भव से ये पार उतारे गये,
घर घर बधाई बाजे रे देखो,
घर घर बधाई बाजे रे,
ढोलक नगाड़ा वाजे रे देखो,
ढोलक नगाड़ा वाजे रे
पुरुषोत्तम मास माहात्म्य कथा: अध्याय 6 (Purushottam Mas Mahatmya Katha: Adhyaya 6)
मैं थाने सिवरू गजानन देवा: भजन (Main Thane Sivaru Gajanan Deva)
राम तुम बड़े दयालु हो: भजन (Ram Tum Bade Dayalu Ho)
घर घर बधाई बाजे रे देखो,
घर घर बधाई बाजे रे,
ढोलक नगाड़ा वाजे रे देखो,
ढोलक नगाड़ा वाजे रे