काले काले बदरा, घिर घिर आ रहे है: भजन (Kaale Kaale Badra Ghir Ghir Aa Rahe Hai)

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काले काले बदरा,
घिर घिर आ रहे है,
ऐ जी झूला डालो,
हम्बे झूला डालो,
कदम्ब की डाल,
कारे कारे बदरा,
घिर घिर आ रहे है,
लम्बे लम्बे झोटा,
राधा रानी ले रही है,
ऐ जी कोई नन्ही नन्ही,
हम्बे कोई नन्ही नन्ही,
परत फुहार,
कारे कारे बदरा,
घिर घिर आ रहे है ॥

झूला पे मोहन,
श्यामा संग झूलते जी,
ऐ जी गोपी गाती है,
हम्बे गोपी गाती है,
राग मल्हार,
कारे कारे बदरा,
घिर घिर आ रहे है ॥

चंपा चमेली जूही,
मोगरा खिल रहे जी,
ऐ जी कोई शीतल,
ऐ जी कोई शीतल,
चलत बयार,
कारे कारे बदरा,
घिर घिर आ रहे है ॥

कदम्ब की डाली काली,
कोयलिया गा रही जी,
ऐ जी दादुर पपिहन की,
ऐ जी दादुर पपिहन की,
सुरीली मस्त पुकार,
कारे कारे बदरा,
घिर घिर आ रहे है ॥

राधा की पायल कान्हा की,
बंसी बज रही,
ऐ जी दास प्रेमी के,
ऐ जी दास प्रेमी के,
लड़ी है अखियाँ चार,
कारे कारे बदरा,
घिर घिर आ रहे है ॥

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काले काले बदरा,
घिर घिर आ रहे है,
ऐ जी झूला डालो,
हम्बे झूला डालो,
कदम्ब की डाल,
कारे कारे बदरा,
घिर घिर आ रहे है,
लम्बे लम्बे झोटा,
राधा रानी ले रही है,
ऐ जी कोई नन्ही नन्ही,
हम्बे कोई नन्ही नन्ही,
परत फुहार,
कारे कारे बदरा,
घिर घिर आ रहे है ॥

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Sandeep Bishnoi

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